Election Commission of India SIR 2025भारत निर्वाचन आयोग ने 12 राज्यों में मतदाता सूची संशोधन का दूसरा चरण शुरू किया


Election Commission of India SIR 2025 और केंद्रशासित प्रदेशों में मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण (Special Intensive Revision – SIR) के दूसरे चरण की शुरुआत की।
इस प्रक्रिया के तहत लगभग 51 करोड़ मतदाताओं की सूची को अद्यतन किया जाएगा।

इस चरण में तमिलनाडु, पश्चिम बंगाल, केरल और पुडुचेरी जैसे चुनावी राज्यों के साथ-साथ उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, राजस्थान, छत्तीसगढ़, गोवा और गुजरात भी शामिल हैं।
केंद्रशासित प्रदेशों में अंडमान-निकोबार द्वीपसमूह और लक्षद्वीप को भी इस प्रक्रिया में रखा गया है।

असम में अभी नहीं होगा संशोधन

निर्वाचन आयोग ने स्पष्ट किया कि असम में फिलहाल SIR लागू नहीं किया जाएगा, क्योंकि राज्य में अगले वर्ष चुनाव निर्धारित हैं।
मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा —

“नागरिकता अधिनियम के तहत असम के लिए अलग प्रावधान हैं। सर्वोच्च न्यायालय की देखरेख में वहां नागरिकता जांच प्रक्रिया लगभग पूरी होने वाली है। इसलिए जून 24 का SIR आदेश पूरे देश के लिए था, लेकिन यह असम पर लागू नहीं होता।”

तमिलनाडु और पश्चिम बंगाल में विवाद

इस चरण का सबसे ज्यादा ध्यान पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु पर रहेगा, जहाँ शासन करने वाली पार्टियाँ — तृणमूल कांग्रेस (TMC) और DMK — इस प्रक्रिया का विरोध कर रही हैं।
तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम. के. स्टालिन ने आरोप लगाया कि BJP और AIADMK इस संशोधन प्रक्रिया के माध्यम से वोटरों के नाम हटाने की साजिश कर रहे हैं।

पहले चरण में 68 लाख नाम हटाए गए

SIR का पहला चरण बिहार में आयोजित किया गया था, जिसके बाद 68 लाख से अधिक नाम मतदाता सूची से हटाए गए थे।
अब, दूसरे चरण के साथ ही 12 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की मतदाता सूचियाँ सोमवार आधी रात से “फ्रीज़” कर दी जाएँगी।

प्रक्रिया का विस्तृत समय-सारिणी

Election Commission of India SIR 2025 घर-घर जाकर मतदाता सत्यापन (house-to-house enumeration)
4 नवंबर से 4 दिसंबर 2025 तक चलेगा।

  • 9 दिसंबर 2025: प्रारंभिक (ड्राफ्ट) मतदाता सूची प्रकाशित होगी
  • 9 दिसंबर से 8 जनवरी 2026: आपत्तियाँ और दावे स्वीकार किए जाएँगे
  • 9 दिसंबर से 31 जनवरी तक: नोटिस, सुनवाई और सत्यापन होंगे
  • 28 अक्टूबर से 3 नवंबर: बूथ-स्तरीय अधिकारियों का प्रशिक्षण और फॉर्म की छपाई
  • 7 फरवरी 2026: अंतिम मतदाता सूची प्रकाशित की जाएगी

केरल और पश्चिम बंगाल से जुड़े सवाल Election Commission of India SIR 2025

केरल में स्थानीय निकाय चुनावों की वजह से SIR को स्थगित करने की मांग उठी है।
इस पर मुख्य निर्वाचन आयुक्त ने कहा —

“केरल के स्थानीय चुनावों की अधिसूचना अभी जारी नहीं हुई है, इसलिए SIR प्रक्रिया पर रोक की आवश्यकता नहीं है।”

वहीं, पश्चिम बंगाल में जहां तृणमूल कांग्रेस ने इस प्रक्रिया पर आपत्ति जताई है, आयोग ने कहा —

“निर्वाचन आयोग अपना संवैधानिक कर्तव्य निभा रहा है। राज्य सरकार का दायित्व है कि वह इस कार्य में आवश्यक सहयोग और जनशक्ति प्रदान करे।”

नए वोटर कार्ड को लेकर स्पष्टीकरण

Election Commission launches 2nd phase of voter list revision नए EPIC कार्ड (Voter ID) दिए जाएंगे, जैसा कि बिहार में किया गया था,
तो ज्ञानेश कुमार ने स्पष्ट किया —

“केवल उन्हीं मतदाताओं को नए कार्ड दिए जाएंगे जिनकी व्यक्तिगत जानकारी में कोई परिवर्तन हुआ है। बाकी के लिए पुराने कार्ड ही मान्य रहेंगे।”

पृष्ठभूमि और महत्व

अधिकांश राज्यों में मतदाता सूची का पिछला विशेष गहन पुनरीक्षण 2002 से 2004 के बीच हुआ था।
इस बार का संशोधन इसलिए अहम है क्योंकि इसमें पते, नाम और अन्य विवरणों की सटीकता सुनिश्चित की जाएगी।
“वोटर मैपिंग” प्रक्रिया के ज़रिए गलत पते, डुप्लिकेट प्रविष्टियाँ और तकनीकी त्रुटियाँ ठीक की जाएँगी।

निष्कर्ष

Election Commission of India SIR 2025, अद्यतन और पारदर्शी बनाने की दिशा में एक बड़ा प्रयास है।
हालाँकि, कुछ राज्यों में राजनीतिक विरोध जारी है, फिर भी आयोग ने कहा है कि वह संविधान के अनुरूप अपना कार्य जारी रखेगा और सभी राज्यों से सहयोग की अपेक्षा रखता है।

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